राज्यपाल श्री मंगूभाई पटेल ने कहा कि देश ने मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य सेवाओं में अभूतपूर्व प्रगति की है। आज 10 से 20 वर्ष की आयु के निःसंतान दंपत्तियों को भी संतान का सुख प्राप्त होता है। उन्होंने मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य के लिए सभी सुविधाओं से युक्त अस्पताल स्थापित करने के लिए राज्य सरकार की सराहना की। यह बात राज्यपाल श्री पटेल ने भोपाल के सरकारी अस्पताल डॉ. कैलाश नाथ काटजू में कही।
राज्यपाल श्री पटेल ने अस्पताल में प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के हितग्राहियों से चर्चा की। उन्होंने पहले अस्पताल में स्थापित तीसरी अल्ट्रासाउंड मशीन और वीआईए सर्वाइकल कैंसर स्क्रीनिंग मशीन को चालू किया था। उन्होंने अस्पताल की कैंटीन, पोस्ट ऑपरेटिव वार्ड आदि का निरीक्षण किया। उन्होंने डॉक्टरों, मरीजों से भी चर्चा की।
राज्यपाल श्री पटेल ने कहा कि समाज की अंतिम कड़ी गरीब व्यक्ति के कल्याण के लिए कार्य करने वाले प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जैसा संवेदनशील प्रधानमंत्री मिलना अभूतपूर्व है। उनके लिए योजनाएँ बनाई गईं। उन्होंने देश में बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ और बेटी पढ़ाओ अभियानों के माध्यम से महिला सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता का एक नया इतिहास रचा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान ने बड़ी संख्या में माताओं और बच्चों की जान बचाने का काम किया है। अभियान के तहत जोखिम वाली गर्भवती महिलाओं के लिए आधुनिक चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराई गईं। उन्होंने कहा कि ऐसी मान्यता है कि एक महिला को जन्म देने के बाद उसका पुनर्जन्म होता है। उन्होंने अस्पताल के सभी डॉक्टरों और कर्मचारियों को बधाई दी और कहा कि वह भगवान से प्रार्थना करते हैं कि उनके हाथों और भाषण में महिमा हो कि जो भी अस्पताल में आए, मुस्कुराकर जाएं। उन्होंने गुजरात की लोक मान्यता का उल्लेख किया और कहा कि एक की प्रार्थना जो स्त्री बच्चे के जन्म के समय बूढ़ी स्त्री को अपना लेती है, उसका जीवन समृद्ध हो जाता है।
प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के लाभार्थी श्रीमती। रुचि चतुर्वेदी, लीला रावत, पूजा राठौर, शाजिया, अंगूरी रामकुंज, पिंकी चिंगटिया, शकुन बाई ने राज्यपाल श्री पटेल को हाई रिस्क प्रेग्नेंसी के कारणों से अवगत कराया. उन्होंने कहा कि अभियान के तहत मिलने वाली नि:शुल्क स्वास्थ्य सुविधा से वह व उनके बच्चे दोनों स्वस्थ हैं. सभी ने डॉक्टरों और आशा कार्यकर्ताओं का आभार व्यक्त किया।
अपर वरिष्ठ स्वास्थ्य मंत्री श्री मोहम्मद सुलेमान ने कहा कि स्वास्थ्य मंत्रालय के प्रति राज्यपाल का स्नेह मंत्रालय की गतिविधियों की एक बड़ी ताकत है। उन्होंने कहा कि काटजू अस्पताल पहले 30 बिस्तरों वाला अस्पताल था जिसे सरकार ने पूरी तरह से सुसज्जित 300 बिस्तरों वाले मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य केंद्र के रूप में विकसित किया। परिचालन उपायों को प्रभावी बनाने के लिए एक पूर्व सैनिक को प्रशासक नियुक्त किया गया। धन्यवाद प्रस्ताव राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन की महानिदेशक सुश्री प्रियंका दास ने दिया।