
पाकिस्तान को IMF से 1.3 अरब डॉलर का नया कर्ज, जलवायु परिवर्तन और आर्थिक सुधारों पर फोकस
अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) ने पाकिस्तान को जलवायु परिवर्तन से निपटने और आर्थिक स्थिरता के लिए 1.3 अरब डॉलर का नया कर्ज मंजूर किया है। इसके साथ ही पहले से मंजूर 7 अरब डॉलर के बेलआउट पैकेज की पहली समीक्षा पूरी होने के बाद 1 अरब डॉलर की दूसरी किश्त जारी करने का भी फैसला लिया गया है।
28 महीने की नई योजना के तहत मदद
IMF ने Climate Resilience and Sustainability Facility के तहत पाकिस्तान को 28 महीने की सहायता देने का समझौता किया है। इस योजना का मकसद जलवायु परिवर्तन से जुड़े संकटों का समाधान करना और आर्थिक सुधारों को लागू करने में मदद करना है। IMF के मिशन प्रमुख नाथन पोर्टर ने बताया कि, “IMF टीम ने पाकिस्तान सरकार के साथ 37 महीने की Extended Fund Facility (EFF) की पहली समीक्षा पूरी कर ली है और साथ ही 28 महीने की नई योजना पर भी सहमति बनी है, जिसके तहत पाकिस्तान को कुल 1.3 अरब डॉलर की अतिरिक्त मदद मिलेगी।”
कुल 2 अरब डॉलर की मदद मिलेगी
IMF बोर्ड की मंजूरी मिलने के बाद पाकिस्तान को EFF योजना के तहत 1 अरब डॉलर की नई किश्त मिलेगी, जिससे अब तक इस कार्यक्रम के तहत कुल 2 अरब डॉलर जारी किए जा चुके होंगे।
IMF ने आर्थिक सुधारों की सराहना की
IMF के मुताबिक, पाकिस्तान ने पिछले 18 महीनों में आर्थिक स्थिरता बहाल करने और वैश्विक चुनौतियों के बीच भरोसा कायम करने में बड़ी प्रगति की है। रेडियो पाकिस्तान की रिपोर्ट के अनुसार, IMF से मिलने वाली यह सहायता पाकिस्तान में टैक्स सुधार, मौद्रिक स्थिरता, ऊर्जा क्षेत्र में बदलाव और जलवायु संकट से निपटने में मदद करेगी। पोर्टर ने कहा कि हालांकि आर्थिक विकास की रफ्तार अभी भी मध्यम है, लेकिन महंगाई में गिरावट आई है, वित्तीय स्थिति बेहतर हुई है और बाहरी घाटे में सुधार देखने को मिला है।
पाकिस्तान को किन क्षेत्रों में मदद मिलेगी?
जलवायु परिवर्तन से निपटने के उपायों में तेजी
आर्थिक सुधारों को मजबूती देने में सहयोग
बेलआउट पैकेज से भुगतान संतुलन को सुधारने में मदद
ऊर्जा और कर सुधारों पर ध्यान केंद्रित करना
IMF से मिली इस मदद से पाकिस्तान को आर्थिक स्थिरता बनाए रखने और जलवायु परिवर्तन के प्रभावों को कम करने में सहायता मिलेगी।