उत्तर प्रदेश की एक अदालत ने 23 साल पुराने मामले में आप सांसद संजय सिंह के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट किया जारी
सुल्तानपुर की एक एमपी/एमएलए अदालत ने 23 साल पुराने एक मामले में आम आदमी पार्टी (आप) के राज्यसभा सदस्य संजय सिंह की गिरफ्तारी का आदेश दिया है। अदालत ने कानून प्रवर्तन एजेंसियों को उन्हें 28 अगस्त को अदालत के समक्ष पेश करने का निर्देश दिया है।
मंगलवार को अदालत ने गिरफ्तारी का आदेश तब जारी किया जब सिंह को 2011 में बिना अनुमति के अनियमित बिजली आपूर्ति के खिलाफ विरोध प्रदर्शन आयोजित करने और सड़कें जाम करने के लिए तीन महीने की जेल की सजा सुनाई गई थी, लेकिन वे आत्मसमर्पण करने में विफल रहे। यह तब हुआ जब उच्च न्यायालय में राहत के लिए उनकी अपील खारिज कर दी गई।
जनवरी 2023 में एमपी/एमएलए कोर्ट के विशेष न्यायाधीश योगेश यादव ने यह फैसला सुनाया था। उन्होंने सिंह, समाजवादी पार्टी (एसपी) के प्रवक्ता अनूप सांडा और मामले में शामिल अन्य लोगों पर 1500 रुपये का जुर्माना भी लगाया था। सजा सुनाए जाने के बाद सिंह और अन्य ने विशेष एमपी/एमएलए कोर्ट में अपील की थी, लेकिन 6 अगस्त को उनकी अपील खारिज कर दी गई थी। उन्हें 9 अगस्त तक सरेंडर करने का आदेश दिया गया था, लेकिन उन्होंने इसका पालन नहीं किया। अपनी सजा पर रोक लगाने की मांग करते हुए सिंह और उनके सह-प्रतिवादियों ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया था, लेकिन अभी तक उन्हें कोई राहत नहीं मिली है और उनकी याचिका समीक्षाधीन है। मंगलवार को सिंह के वकीलों ने एमपी/एमएलए कोर्ट से अनुरोध किया कि जब तक उनकी याचिकाएं हाईकोर्ट में लंबित हैं, तब तक सजा को निलंबित कर दिया जाए। हालांकि, कोर्ट ने उनके अनुरोध को खारिज कर दिया। आरोपियों ने सरेंडर करने के लिए अतिरिक्त समय भी मांगा, लेकिन यह आवेदन भी खारिज कर दिया गया। उन्हें 20 अगस्त तक सरेंडर करने का निर्देश दिया गया। चूंकि वे ऐसा करने में असफल रहे, इसलिए अदालत ने अब पुलिस को उन्हें गिरफ्तार करने और 28 अगस्त को अदालत के समक्ष पेश करने का निर्देश दिया है।